Lok sabha election 2024
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जल, जंगल और जमीन से जुड़ी पीलीभीत लोकसभा सीट पर वरुण गांधी के मैदान से हटने के बाद दिग्गजों के बीच मुकाबला दिलचस्प होने के आसार हैं। सियासी मैदान में बसपा के अनीस अहमद खां उर्फ फूल बाबू को छोड़ दिया जाए तो भाजपा के जितिन प्रसाद और सपा के भगवत सरन गंगवार के लिए यहां का रण बिल्कुल नया है।
ऐसे में प्रदेश सरकार के मंत्री और भाजपा प्रत्याशी जितिन प्रसाद के सामने गढ़ बचाने की चुनौती है तो सपा के भगवत सरन गंगवार के सामने पिछड़ा-मुस्लिम गठजोड़ के फार्मूले को साबित करने का मौका है। उधर, इस सियासी धरा के पुराने खिलाड़ी बसपा प्रत्याशी अनीस अहमद उर्फ फूल बाबू तीसरी बार मैदान में हैं और उन्हें मुस्लिम-दलित व पिछड़ा वर्ग से समर्थन मिलने का पूरा भरोसा है।
कुर्मी मतदाताओं की निर्णायक भूमिका वाली इस लोकसभा सीट पर भाजपा ने हिंदू मतों के भरोसे जितिन प्रसाद को मैदान में उतारा है। वहीं, सपा ने कुर्मी बिरादरी में प्रभाव रखने वाले बरेली के भगवत सरन गंगवार को उम्मीदवार बनाकर मुस्लिम-कुर्मी मतों के सहारे कामयाबी का ताना-बाना बुना है। बसपा ने अपने दलित-मुस्लिम कार्ड को फिर से यहां आजमाने की कोशिश की है और अनीस अहमद खां पर विश्वास जताया है।
चार दशक से भाजपा का मजबूत गढ़ रही इस लोकसभा सीट पर 35 वर्षों में यह पहला मौका है, जब मेनका गांधी या वरुण गांधी यहां से भाग्य नहीं आजमा रहे हैं। भाजपा ने परिवारवाद की राजनीति को खारिज करने की गरज से शाहजहांपुर और धौरहरा से सांसद रहे वर्तमान में प्रदेश के कैबिनेट मंत्री जितिन प्रसाद को मैदान में उतारकर अगड़े वोट बैंक को साधने की कोशिश की है।