राम रहीम हनीप्रीत
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2015 के बरगाड़ी बेअदबी मामले में एक बड़ा खुलासा हुआ है। मामले की जांच कर रही एसआईटी द्वारा गिरफ्तार किए गए भगौड़े डेरा प्रेमी प्रदीप कलेर ने इस मामले में जेएमआईसी चंडीगढ़ की अदालत में धारा 164 के तहत बयान दर्ज करवाए हैं।
अपने बयान में प्रदीप कलेर ने स्पष्ट किया है कि बेअदबी की घटना को डेरा मुखी गुरमीत राम रहीम और हनीप्रीत के कहने पर अंजाम दिया गया था। फिलहाल इस मामले की सुनवाई चंडीगढ़ अदालत में चल रही है। पिछले दिनों हाईकोर्ट द्वारा बाबा के केस की प्रोसीडिंग पर रोक लगा दी गई थी।
अक्तूबर 2015 में हुई थी बेअदबी
12 अक्तूबर 2015 को बरगाड़ी में श्री गुरु ग्रंथ साहिब की बेअदबी हुई थी। इस मामले में डेरा सच्चा सौदा मुखी समेत डेरा की राष्ट्रीय समिति के तीन सदस्यों हर्ष धूरी, प्रदीप कलेर और संदीप बरेटा नामजद हैं उक्त तीनों सदस्य तब से ही भगौड़े चल रहे थे परन्तु 9 फरवरी को एसआईटी व पंजाब पुलिस ने प्रदीप कलेर को गुरुग्राम से गिरफ्तार कर लिया था। एसआईटी लगातार प्रदीप कलेर का रिमांड लेकर इस मामले में पूछताछ करती रही है।
इसी पूछताछ के दौरान प्रदीप कलेर ने दर्ज करवाए गए बयान में कहा है कि बेअदबी घटना को डेरा मुखी तथा हनीप्रीत के कहने पर अंजाम दिया गया था। ऐसे में डेरा मुखी की मुश्किलें एक बार फिर बढ़ सकती हैं।
प्रदीप कलेर का बयान
प्रदीप कलेर के बयान के अनुसार वह 1987 से डेरा सच्चा सौदा के साथ जुड़ा हुआ है और डेरा मुखी ने उसे डेरे के राजनीतिक विंग का राष्ट्रीय अध्यक्ष बनाया था। उसका काम राजनेताओं से मिलना था।बयान के अनुसार 2015 में मार्च या अप्रैल में उसे किसी काम से दिल्ली जाना था। इसी दौरान उसे डेरा मुखी ने बुलाया। वहां राम रहीम, हनीप्रीत, राकेश कुमार उर्फ राकेश दिड़बा, संदीप बरेटा, हर्ष धूरी, महिंदरपाल बिट्टू कोटकपूरा, गुलाब उर्फ गुलाबु, गुरलीन उर्फ राकेश कुमार उपस्थित थे।
वहां बिट्टू ने बाबा के ध्यान में लाया कि एक सिख प्रचारक द्वारा बुर्ज जवाहर सिंह वाला में धार्मिक कार्यक्रम किया गया था। इसमें धर्म प्रचारक से प्रेरित होकर कुछ प्रेमियों ने डेरे द्वारा दिया जाने वाला लॉकेट जिसमें बाबा की तस्वीर होती है को पैरों में फेंक दिया था। यह सुनते ही हनीप्रीत भड़क गई और उसने कहा कि जब उन्होंने लॉकेट फेंके तब आपने क्यों नहीं कुछ किया। जिसके बाद बाबा और हनीप्रीत ने कहा कि ईंट का जवाब पत्थर से दो। इसके बाद बेअदबी की योजना बनाई गई और इसकी जिम्मेदारी डेरे की 45 सदस्यीय कमेटी के सदस्य महिंदरपाल बिट्टू को सौंपी गई।
कलेर ने बताया खतरा
प्रदीप कलेर ने डेरा मुखी से अपने व अपने परिवार की जान को खतरा बताते हुए कहा है कि अब उसे व उसके परिवार को धमकियां मिल रही हैं। बाबा, हनीप्रीत व राकेश दिड़बा उसे मरवाना चाहते हैं। पहले भी महिंदरपाल बिट्टू को नाभा की हाई सिक्योरिटी सेल में मरवाया जा चुका है।
वहीं डेरा प्रेमियों के केसों की पैरवी करने वाले वकील केवल बराड़ ने इसे पालिटिकल चलान करार देते हुए कहा कि एसआईटी राजनैतिक दबाव के चलते झूठी कहानियां बना रही है। इसके अतिरिक्त महिंदरपाल बिट़्टू ने डायरी नोट लिखा था। जिसके आधार पर एसआईटी के खिलाफ हाईकोर्ट ने जांच के आदेश दिए हुए हैं। जिससे बचने के लिए उनके द्वारा यह कहानी बनाई जा रही है।